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केंद्र का दिल्ली सरकार पर 39,000 करोड़ रुपये का कर्ज, भाजपा ने अरविंद केजरीवाल की गलत नीतियों को ठहराया जिम्मेदार

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नई दिल्ली
'मुफ्त रेवड़ी' बांटने को लेकर भारतीय जनता पार्टी और दिल्ली में सत्तासीन आम आदमी पार्टी के बीच छिड़ा विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। इस बीच ताजा मामले में दिल्ली प्रदेश भाजपा प्रवक्ता हरीश खुराना (Delhi State BJP Spokesperson Harish Khurana) ने कहा कि भ्रष्टाचार में घिरी हुई सरकार के मुखिया जनता का ध्यान भटकाने की कोशिश कर रहे हैं। हरीश खुराना ने यह भी कहा है कि अपनी गलत नीतियों और कुप्रबंधन की वजह से दिल्ली सरकार पर केंद्र सरकार का 39 हजार करोड़ रुपये का कर्ज हो गया है। उन्होंने कहा कि दिल्ली जल बोर्ड (Delhi Jal Board) और दिल्ली परिवहन निगम (Municipal Corporation) भी हजारों करोड़ रुपये के कर्ज में है।

दिल्ली का विकास हो गया ठप
भाजपा नेता हरीश खुराना का कहना है कि दिल्ली सरकार पर इतने बड़े कर्ज के चलते राजधानी में विकास कार्य प्रभावित हुए हैं। विकास कार्य ठप पड़ गया है। उधर, सीएम अरविंद केजरीवाल ने सरकारों की ओर से मुफ्त रेवड़ियां बांटने को लेकर चल रही बहस के बीच एक बार फिर ऐसा कहने वालों पर निशाना साधा है। उन्होंने कहा कि करदाताओं के साथ धोखा तब होता है, जब उनसे टैक्स का पैसा लेकर उसका प्रयोग चंद दोस्तों के कर्ज माफ करने में किए जाता है। करदाताओं के पैसे को खर्च करने के लिए पूरे देश में जनमत संग्रह कराने की मांग भी की है।

केजरीवाल ने बुधवार को एक वीडियो संदेश जारी करते हुए कहा, अभी मैंने थोड़ी देर पहले सुना है कि कुछ लोग कह रहे हैं कि जनता को मुफ्त सुविधाएं देने से देश को नुकसान हो रहा है। यह करदाताओं के साथ धोखा है। करदाताओं के बच्चों को अच्छी शिक्षा, अच्छी चिकित्सा व्यवस्था, बिजली-पानी और सड़कें देना धोखा नहीं होता है, लेकिन 10 लाख करोड़ रुपये का कर्ज माफ करना जरूर उनके साथ धोखा है। उन्होंने कहा कि इन कर्ज माफी, टैक्स छूट के चलते ही दूध-दही के ऊपर भी जीएसटी लगाया जाता है।

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